यहां बैंकों के Fixed Deposits से बेहतर मिलेगा रिटर्न! अभी निवेश का है शानदार मौका
Fixed Deposits से बेहतर रिटर्न पाने का एक विकल्प है म्युचुअल फंडों के फिक्स्ड मैच्योरिटी प्लान्स (FMP).
बैंकों की FD से बेहतर रिटर्न के लिए FMP में करें निवेश (फोटो: DNA)
बैंकों की FD से बेहतर रिटर्न के लिए FMP में करें निवेश (फोटो: DNA)
कई निवेशक जो रिस्क नहीं लेना चाहते हैं वह बैंकों में फिक्स्ड डिपॉजिट (FD) कर निश्चिंत हो जाते हैं. जरा सोचिए, बैंक आपको 3 साल के फिक्स्ड डिपॉजिट पर 6.85 फीसदी का ब्याज दे रहे हैं. इनसे मिलने वाले ब्याज पर टैक्स भी देना होता है. अगर आप इनकम टैक्स देते हैं तो आपको मिलने वाला वास्तविक ब्याज वास्तव में कम हो जाता है. आपके पास Fixed Deposits से बेहतर रिटर्न पाने का एक विकल्प है म्युचुअल फंडों के फिक्स्ड मैच्योरिटी प्लान्स (FMP). फिक्स्ड मैच्योरिटी प्लान्स, बैंकों के फिक्स्ड डिपॉजिट्स की तरह रिटर्न की गारंटी तो नहीं देते लेकिन आमतौर पर इनके रिटर्न बेहतर ही रहते हैं. ब्याज दर बढ़ने के इस माहौल में जहां 10 साल का बेंचमार्क बॉन्ड यील्ड एक बार फिर से 8% की तरफ बढ़ रहा है, ऐसे में फाइनेंशियल प्लानर्स FMP में निवेश पर विचार करने की सलाह दे रहे हैं.
क्या हैं FMP?
FMP डेट म्युचुअल फंड स्कीम्स होते हैं. इनकी मैच्योरिटी की अवधि बैंकों के फिक्स्ड डिपॉजिट्स की तरह ही पहले से ही तय होती है. इसलिए, FMP में सिर्फ नए फंड ऑफर (NFO) के दौरान ही निवेश किया जा सकता है. आप इनमें से मैच्योरिटी से पहले पैसे नहीं निकाल सकते लेकिन जरूरत पड़ने पर स्टॉक एक्सचेंजों पर इन्हें बेच सकते हैं.
FMP में कहां से होती है कमाई?
म्युचुअल फंड कंपनियां FMP से जुटाई गई राशि का निवेश फिक्स्ड इनकम सिक्योरिटीज में करते हैं. इनकी मैच्येरिटी FMP की मैच्योरिटी से कुछ पहले की होती है. उदाहरण के तौर पर मान लीजिए कि आप 3 साल के FMP में निवेश करते हैं तो इसका फंड मैनेजर ऐसी जगहों पर निवेश करेगा जिसकी मैच्योरिटी 3 साल या इससे कम हो. इस कारण FMP में ब्याज दर को जोखिम नहीं रह जाता है.
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FMP में निवेश के फायदे
बैंकों के फिक्स्ड डिपॉजिट से मिलने वाला ब्याज आपकी आय में जुड़ जाता है और आप इनकम टैक्स के जिस स्लैब में आते हैं उसे हिसाब से इस पर टैक्स देना होता है. FMP डेट फंड होते हैं और इनकी मैच्योरिटी अवधि के हिसाब से इन पर टैक्स देना होता है. इनकम टैक्स के नजरिए से 3 साल से अधिक अवधि की मैच्योरिटी वाले FMP टैक्सेशन के लिहाज से फिक्स्ड डिपॉजिट्स से बेहतर होते हैं.
3 साल से अधिक की मैच्यारिटी वाले FMP पर मिलता है इंडेक्सेशन का लाभ
अगर आप 3 साल से अधिक अवधि वाली FMP में निवेश करते हैं तो इससे होने वाले लाभ को लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन (LTCG) में रखा जाएगा और इंडेक्सेशन के साथ इस पर 20% के हिसाब से टैक्स देना होगा. इंडेक्सेशन का लाभ बैंकों के फिक्स्ड डिपॉजिट पर नहीं मिलता है.
क्या होता है इंडेक्सेशन?
इंडेक्सेशन का मतलब उस लाभ से है जिसे महंगाई दर के साथ एउजस्ट किया जाता है. इसलिए जो निवेशक FMP में 3 साल से अधिक अवधि के लिए निवेश करता है उसे सिर्फ महंगाई समायोजित शुरुआती निवेश के ऊपर ही टैक्स देना होता है. यही वजह है कि कई म्युचुअल फंड कंपनियां जनवरी से मार्च महीने के दौरान FMP लॉन्च करते हैं.
10:45 AM IST